अयोध्या को विश्व स्तरीय शहर बनाने के लिए अधिकारी कार्य करें तथा अपने अपने विभाग की परियोजनाओं को समय से पूरा करें

अयोध्या 04 सितम्बर 2022 (सू0वि0)ः-उत्तर प्रदेश के मुख्य सचिव दुर्गा शंकर मिश्र द्वारा आज आयुक्त सभागार में अयोध्या विजन 2047 के कार्यो की गहन समीक्षा की गयी। इस समीक्षा के पूर्व मुख्य सचिव द्वारा रामकथा संग्रहालय, दीपोत्सव स्थल राम की पैड़ी, नयाघाट पर निर्माणाधीन लता मंगेश्कर चैक, श्रृंगार हाट से श्रीराम जन्मभूमि मंदिर मार्ग (भक्ति पथ), सुग्रीव किला से रामजन्मभूमि मंदिर मार्ग (जन्मभूमि मार्ग) एवं सहादतगंज से नयाघाट स्थित (राम पथ मार्ग) का निरीक्षण तथा श्रीराम लला विराजमान मंदिर में पूजन, श्री हनुमानगढ़ी में पूजन, कनक भवन में दर्शन, कौशलेश कुंज में निर्माणाधीन पार्किंग स्थल, अयोध्या रेलवे स्टेशन का निरीक्षण, टेढ़ीबाजार पर निर्माणाधीन दो मल्टीलेबल पार्किंग स्थल का निरीक्षण, तुलसी स्मारक भवन का निरीक्षण, आवास विकास परिषद द्वारा विकसित की जाने वाली ग्रीन फील्ड टाउनशिप का निरीक्षण, तिलोदकी नदी पर बनाये गये पर्यावरण कार्यो का निरीक्षण, सांईदाता कुटियां के समीप डम्पिंग यार्ड पर मियावा की पद्वति से कराये गये वृक्षारोपण का निरीक्षण, निर्माणाधीन मर्यादा पुरूषोत्तम भगवान राम अन्तर्राष्ट्रीय एयरपोर्ट का निरीक्षण, शहर में निर्माणाधीन/जीर्णोद्वार संध्या सरोवर लाल डिग्गी का निरीक्षण, वृक्षारोपण एवं समदा झील पर कराये जा रहे पर्यावरण संरक्षण के कार्यो का निरीक्षण किया गया।

निरीक्षण के समय मुख्य सचिव के साथ उनके स्टाप आफिसर्स एवं पूर्व जिलाधिकारी अयोध्या डा0 अनिल कुमार पाठक, मण्डलायुक्त नवदीप रिणवा, डीआईजी अमरेन्द्र प्रसाद सिंह, जिलाधिकारी नितीश कुमार, वरिष्ठ पुलिस अधीक्षक प्रशान्त वर्मा, नगर आयुक्त विशाल सिंह सहित मण्डल एवं जनपद के वरिष्ठ एवं कार्यदायी संस्थाओं के प्रमुख उपस्थित थे। मुख्य सचिव ने निरीक्षण के समय कहा कि जो जो भी विभागीय कार्य किये जा रहे है वे मानक के अनुसार समय से पूरा करें तथा वाल राइटिंग की जा रही है वह श्रीराम के चरित्र पर रामायणकालीन चित्र एवं आम जनमानस को प्रेरणादायक प्रभावशाली होनी चाहिए, जिससे कि आदमी उसको मर्यादा और श्रद्वा के साथ देख सके और उस वाल पेंटिंग से प्रभावित हो सकें।

विशेष कर मल्टीलेबल पार्किंग एवं तुलसी स्मारक भवन में निर्माण कार्यो के निरीक्षण के समय कहा कि सबसे ऊपरी तल पर उस भवन में लिफ्ट सहित फूड कोट/रेस्टोरेंट की भी स्थापना किया जाय। हम लोग अयोध्या के जो विकास की चर्चा करते है वे हमें 2047 को पूरा करना ही है परन्तु हमें व्यापक विजन और दृष्टिकोण के साथ बनाना चाहिए कि अयोध्या को विश्व स्तर की महानगरी कैसे बनाया जाय क्योंकि श्रीराम मंदिर शुरू होने के बाद यहां पर बहुत ही भीड़ बढ़ने की संभावना है, क्योंकि यह अयोध्या भारत की सांस्कृतिक राजधानी के रूप में अपनी आकार ले रही है। हमे सभी विभागों और अधिकारियों को पूर्ण मनोयोग के साथ ईमानदारी से राष्ट्र एवं प्रदेश के विकास को केन्द्र मानकर आम जनमानस के लिए करना चाहिए। मुख्य सचिव द्वारा रेलवे स्टेशन के निरीक्षण के समय बेहतर से बेहतर सुविधायें देने एवं इसको जल्द से जल्द आम जनमानस के लिए उपयोग में लाने हेतु कार्यवाही करने के लिए रेलवे के अधिकारियों को निर्देश दिये।

रेलवे के अधिकारियों ने बताया कि वर्तमान में हमारे पास 3 प्लेटफार्म है और हमारे यहां 3 और प्लेटफार्म बनाने की कार्यवाही चल रही है इस तरह अयोध्या रेलवे स्टेशन पर 6 प्लेटफार्म हो जायेंगे इस पर भी जल्द से जल्द कार्यवाही करने व उत्तर प्रदेश सरकार से पूरा करने का आश्वासन दिया। मुख्य सचिव द्वारा लाल डिग्गी के संध्या सरोवर के जल में बैजयन्ती के पौधे को सरोवर में अर्पित किया जो सरोवर के गंदे पानी और बैक्ट्रीरिया को अपने उपयोग में लाकर सरोवर को साफ करने में मदद करते है तथा उक्त अवसर पर स्काउट गाइड बच्चों के साथ पौधारोपण भी किया तथा यश पेपर मिल का भी निरीक्षण किया तथा पेपर तैयार करने आदि प्रक्रिया की जानकारी ली एवं बेहतर उपयोगी सिस्टम बताया।

मुख्य सचिव द्वारा अयोध्या के विकास कार्यो में एवं सौन्दर्यीकरण के कार्यो में तथा आम जनता/तीर्थ यात्रियों के सुविधा के लिए ज्यादा से ज्यादा उपयोगी योजनाएं, व्यवहारिक योजनाएं लागू करने के निर्देश दिये। साथ ही साथ 14 कोसी एवं पंचकोसी मार्गो पर और बेहतर व्यवस्था करने के भी निर्देश दिये गये।

आयुक्त सभागार में अयोध्या विजन के विकास कार्यो को समीक्षा में मुख्य रूप से सांस्कृतिक अयोध्या, सक्षम अयोध्या, आधुनिक अयोध्या, आयुष्मान अयोध्या, सुरम्य अयोध्या, भावनात्मक अयोध्या, सुगम्य अयोध्या को केन्द्र मानकर कार्य करने को कहा। अयोध्या में वर्तमान समय में 252 योजनायें चल रही है। मुख्य सचिव ने कहा कि योजना बनाने से ज्यादा उसको समय से अमल करना हर एक के लिए सुविधा एवं उपयोगी बनाना मुख्य कार्य होना चाहिए। इसके लिए कार्यदायी संस्था, नगर निगम और अयोध्या विकास प्राधिकरण समयबद्व कार्यवाही करें और कोई भी आर्ट विशेष विशिष्टता के साथ बनाया जाय तथा विभिन्न कालेजो के आर्ट कला से जुड़े छात्रों को भी प्रोत्साहित किया जाय। अयोध्या में माॅडल स्ट्रेक्चर बनाने के भी निर्देश दिये।

मुख्य सचिव ने यह भी कहा कि मण्डलायुक्त, जिलाधिकारी, नगर आयुक्त समय समय पर बैठकर विशेष रूप से अयोध्या की योजनाओं को गहनता से उसका परीक्षण भी करें, जिससे की और उपयोगी बनाया जा सकें। नगर निगम में नगर निगम का विस्तार किया गया है इसमें 43 गांव जोड़े गये है उसके लिए भी एक बेहतर योजना बनाने के निर्देश दिये गये है और वाल राइटिंग को प्रत्येक स्तर पर इफेक्टिव एवं आकर्षण बनाने हेतु निर्देश दिया। नगर निगम के क्षेत्र में 33 पार्को को हरा भरा और सोलर लाइट युक्त बनाया जा रहा है इस पर भी तेजी से कार्य किया जा रहा है। मुख्य सचिव ने यह भी कहा कि 100 प्रतिशत सरकारी विभागों/कार्यालयों में सौर ऊर्जा सम्बंधित सिस्टम की स्थापना किया जाय। अयोध्या को सौर ऊर्जा पर आधारित सिटी के रूप में चयनित किया गया है। अयोध्या में पेयजल की 6 परियोजनाएं प्रस्तावित है इस पर भी समय से कार्यवाही करने के निर्देश दिये गये है। अयोध्या में जलनिकासी के 5 नाले है इस पर भी समय से कार्यवाही हेतु गुणवत्ता के साथ पूरा करने को कहा गया है।

मुख्य सचिव ने कहा कि जो परियोजनाएं इस माह में एवं अगले माह तक पूरी होनी है उनको प्रत्येक दशा में इस माह के अंत तक पूरा किया जाय क्योंकि आगामी दीपोत्सव को केन्द्र में रखकर भी कार्यदायी संस्था के अधिकारी कार्य करें। गोशाला के सम्बंध में चर्चा करते हुये कहा कि नगर निगम की गौशाला बैसिंह में जो संचालित है उसमें 1900 गाय है उसको लखनऊ एवं वाराणसी में स्थापित गोशालाओं की तरह गोवर्धन योजना से जोड़ा जाय तथा बहराइच जनपद में गोशालाओं के लिए चारे आदि की व्यवस्था की नई तकनीक अपनायी गयी है उससे जानकारी लेकर यहां पर भी उसको लागू किया जाय तथा गोशालाओं के संचालन के लिए वृन्दावन मथुरा में भी अच्छी अच्छी प्रक्रियायंे है उसको भी अपनाने के लिए नगर निगम के लिए एवं अन्य गोशाला संरक्षको को निर्देश दिये गये।

अयोध्या विजन के विकास मंे मुख्य रूप से 8 कुण्डो का कायाकल्प, ब्रहमकुण्ड का कायाकल्प, ओवरब्रिज के निर्माण, सड़कों के निर्माण, शहर का सौन्दर्यीकरण, ऐतिहासिक स्थानों भित्ति चित्र एवं कलाकृति के माध्यम से पुर्नद्वार, राम की पैड़ी पर म्यूराल आर्ट एवं फसाड़ सम्बंधी कार्यो को करने, रामायण सर्किट थीम के विकास करने, भजन संध्या स्थल नयाघाट पर नियमित भजन/सांस्कृतिक कार्यक्रम आयोजित करने, सूर्यकुण्ड का सौन्दर्यीकरण करने, गुप्तारघाट का और विकास करने, मर्यादा पुरूषोत्तम भगवान राम, अन्तर्राष्ट्रीय हवाई अड्डा का प्रथम फेज का रनवे दिसम्बर तक तैयार करने तथा उसका टर्मिनल भी तैयार करने, अयोध्या रिंग रोड के विकास पर कार्य करने, अयोध्या के स्टेपी निर्माण के क्षमता में और विकास करने, सीता झील के विकास में कार्यवाही करने आदि बिन्दुओं पर गहनता से विचार किया गया।

अन्त में मुख्य सचिव ने अधिकारियों से कहा कि मेरा पुनः शीघ्र भ्रमण अयोध्या में होगा, जिस भी विभाग की कोई समस्या हो तो मण्डलायुक्त, जिलाधिकारी आदि के माध्यम से अपने-अपने विभाग के वरिष्ठ अधिकारियों एवं मेरे कार्यालय को भी अवगत करा सकता है। उसका जल्द से जल्द समाधान किया जायेगा। अयोध्या का विकास प्रधानमंत्री एवं मुख्यमंत्री के एजेंडे में महत्वपूर्ण स्थान पर है इस भावना को ध्यान में रहकर अधिकारी गण कार्य करें तथा कोई भी समस्या हो तो मेरे कार्यालय/मेरे स्टाफ आफिसर्स डा0 अनिल कुमार को भी अवगत करा सकता है। उसका सर्वोच्च प्राथमिकता के आधार पर समाधान किया जायेगा तथा अधिकारीगण बेहतर समन्वय के साथ कार्य करें और कोई समस्या हो तो स्थानीय स्तर पर भी हल करें एवं शासन स्तर पर भी अवगत करायें पर कार्य को गुणवत्ता के साथ समय पर पूरा करें।

इस बैठक में मण्डलायुक्त, डीआईजी, जिलाधिकारी, वरिष्ठ पुलिस अधीक्षक, नगर आयुक्त सहित मण्डल के मण्डलीय अधिकारी, विभिन्न कार्यदायी संस्थाओं के प्रतिनिधि, रेलवे, एयरपोर्ट आर्थारिटी के प्रतिनिधि आदि उपस्थित थे। अन्त में मुख्य सचिव महोदय को मण्डलायुक्त एवं जिलाधिकारी द्वारा विदाई दी गयी तथा मुख्य सचिव जी का विगत दिवस बलरामपुर क्षेत्र में भ्रमण था आज उन्होंने स्टाफ कार से लखनऊ के लिए प्रस्थान किया और सभी के सहयोग की सराहना की तथा मीडिया को भी आभार व्यक्त किया।

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