JRF से Sc.G / Director का सफर बहुत experience और ज्ञान देता हैं एक scientist को, देश का एक asset बना देता हैं एक JRF को एक विद्यार्थी को। इस level के लोग बहुत बड़े asset होते है देश का !!! हिसाब लगाइए कितना experience honey trap में बर्बाद हुआ, सिर्फ एक asset ही नही बहुत सारा information भी गया। अब पता कीजिए की कितनी “सीमा हैदरें” है इस देश में !!!!!! और धन्यवाद दीजिए उस intelligence operative का जिसने मीडिया को ये “सचिन सीमा” वाला information leak किया, बाकी…
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ये चेहरा क्यों उतर गया हैं ?
क्या हो रहा होगा हिंदुस्ताने के सड़कों गलियों में आज से 3-4 महीने बाद ? और उसका नतीजा क्या होगा ? पटना में विपक्ष के मीटिंग के दूसरे ही दिन मोदीजी में पुरे दम से UCC का उदघोष कर दिया, नीतिश जी तुरंत चले गए राजगीर पर इस बार “कोप भवन” से कुछ हासिल नहीं हुआ। आज से चंद महिने बाद पूरा हिंदुस्तान राम मंदिर के प्राण प्रतिष्ठा के जश्न की शुरुआत कर चुका होगा, अभूतपूर्व आनंदोत्सव चल रहा होगा, मौका भी हैं, और ये उत्सव घर घर होगा, मंदिर…
Read Moreनीतीश लिख रहे विपक्षी एकता का नया इतिहास : डॉ. निर्मल कुशवाहा
पटना/डिहरी ऑन-सोन। नीतीश कुमार देश के धर्मनिरपेक्ष और लोकतांत्रिक स्वरूप को बचाने के लिए एक बेहद महत्वपूर्ण भूमिका निभा रहे हैं और विपक्षी एकता का नया इतिहास लिख रहे हैं। यह बात जदयू के वरिष्ठ नेता तथा औरंगाबाद संसदीय क्षेत्र के पूर्व प्रभारी डॉ. निर्मल कुशवाहा ने पत्रकारों से बातचीत करते हुए कही। श्री कुशवाहा ने कहा कि आपातकाल के बाद यह पहला मौका है जब अलग-अलग विचारधाराओं के 15 दल देश के धर्मनिरपेक्ष स्वरूप को बचाने और देश में लोकतांत्रिक मूल्यों की रक्षा के लिए मुख्यमंत्री नीतीश कुमार की…
Read Moreतीर्थयात्रा खुद की खोज का एक समग्र अनुभव है
धार्मिक तीर्थ स्थल भी लोगों के लिए प्रेरणा और प्रेरणा का स्रोत हो सकते हैं, जो इन अनुभवों से दूर आकर आध्यात्मिक संतुष्टि और दूसरों के साथ संतुष्टि की भावना महसूस कर सकते हैं। इससे विभिन्न संस्कृतियों और पृष्ठभूमि के लोगों के बीच एकता और एकजुटता की भावना को बढ़ावा देने में मदद मिल सकती है, जो एक समान विश्वास या मूल्यों का समूह साझा कर सकते हैं। कुल मिलाकर, धार्मिक तीर्थ स्थल पर्यटन को बढ़ावा देने, अंतर-सांस्कृतिक संवाद को बढ़ावा देने और आध्यात्मिक विकास और समुदाय-निर्माण के अवसर पैदा…
Read Moreराजस्थान- कांग्रेस के प्रदेश अध्यक्ष को उन्ही के विधानसभा क्षेत्र की घेराबन्दी में लगी है बीजेपी
भारतीय जनता पार्टी, राजस्थान कांग्रेस के प्रदेशाध्यक्ष की उन्ही के विधानसभा क्षेत्र की घेराबन्दी में लगी हुई है। राजस्थान में अब तक हुए विधानसभा चुनावों में लक्ष्मणगढ़ सीट पर लगभग कांग्रेस पार्टी का ही दबदबा रहा है। 1951 से लेकर 2013 तक कांग्रेस के प्रत्याशियों ने नौ बार जीत हासिल की है। 1951 में जब पहली बार चुनाव हुए तो लक्ष्मणगढ़ व फतेहपुर एक ही विधानसभा क्षेत्र था। 1957 में अलग अलग विधानसभा क्षेत्र बनने के बाद कांग्रेस के किशनसिंह लक्ष्मणगढ़ से पहले विधायक चुने गए। 1962 के दूसरे चुनावों…
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