जांच में कमी दिखा तो संबंधित पदाधिकारियों का वेतन बंद

पटना। पटना नगर निगम क्षेत्र में चल रही योजनाओं की लगातार समीक्षा की जा रही है। इसके अंतर्गत जलापूर्ति प्रमंडल की पूर्ण योजनाओं की नवगठित 8 जांच दलों द्वारा रिपोर्ट नगर आयुक्त के समक्ष प्रस्तुत की गई। कई बिंदुओं पर टीम द्वारा योजना की विस्तृत जांच की गई। जिसके आधार पर जांच दलों द्वारा नगर आयुक्त को विस्तृत रिपोर्ट सौंपी गई।

जांच रिपोर्ट के अनुसार जलापूर्ति की 39 योजनाओं में कई त्रुटियां दिखी। जिसमें पंप क्रियाशील नहीं होना, अप्रोच रोड की कमी, कंपाउंड वॉल का निर्माण नहीं होना, कैंपस में अतिक्रमण आदि कई कारण नगर आयुक्त के संज्ञान में आए। इसके साथ ही सबसे गंभीर समस्या के रूप में यह पाया गया की अधिकांश योजनाओं को बिना क्लोरीनेटर का अधिष्ठापन किए ही योजना को पूर्ण बताया गया। जांच रिपोर्ट के आधार पर नगर आयुक्त द्वारा त्वरित कार्रवाई करते हुए सभी अभियंताओं एवं पदाधिकारियों को निर्देश दिया गया है कि संबंधित सभी 39 योजनाओं की कमियों को1 हफ्ते के अंदर दूर करें।

इसके साथ ही जियो टैगिंग की फ ोटो के साथ उसकी रिपोर्ट मुख्यालय में जमा करें। इसके साथ ही कार्य में त्रुटि एवं लापरवाही होने के कारण नगर आयुक्त द्वारा संबंधित अभियंताओं एवं पदाधिकारियों  को शो कॉज देकर का वेतन रोका गया है। नगर आयुक्त द्वारा स्पष्ट निर्देश दिया गया है कि कार्य पूर्ण होने के बाद ही किसी भी संवेदक का भुगतान किया जाएगा। पटना नगर निगम में अग्रिम भुगतान करने का कोई प्रावधान नहीं है। अगर ऐसा किया जाता है तो संबंधित व्यक्ति पर कार्रवाई भी की जाएगी। पटना नगर निगम में कार्य के पूर्ण होने एवं उसकी पूर्ण तरीके से नगर निगम द्वारा जांच होने के पश्चात ही संबंधित संवेदक को भुगतान किया जाएगा।

ये सभी योजनाएं नगर निगम क्षेत्र के सभी 75 वार्ड से मिलाकर एकत्रित की गई है। गौरतलब है कि पटना नगर निगम द्वारा प्रत्येक बुधवार को विभिन्न योजनाओं की समीक्षा जांच दलों द्वारा की जा रही है। प्रत्येक अंचल में चल रही विभिन्न योजनाओं की जांच लगातार की जाएगी।

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