आज दरौंदा में सिवान जिले के दरौंदा विधानसभा उप चुनाव को लेकर राजद कार्यकर्ताओं की बैठक
आज सुबह हुई बैठक जिसमें दलित पिछड़ा अकलियत और दरौंदा का विकास चाहने वाले सभी वर्गों को जागरूक कर राजद उम्मीदवार के प्रति गोलबंद करने का निर्णय लिया गया, दोपहर में उमेश कुमार सिंह राजद प्रत्याशी के प्रधान कार्यालय का उद्घाटन हुआ. इस अवसर पर अवर राजद नेता अवध बिहारी चौधरी विधायक सुखदेव सिंह विधायक शिव शंकर यादव सिवान संसदीय क्षेत्र से पूर्व प्रत्याशी हिना साहेब महाराजगंज लोकसभा क्षेत्र से राजद प्रत्याशी रहे रणधीर सिंह समेत राजद के एक दर्जन हो वरीय नेता उपस्थित थे. इस अवसर पर आज बिहारी चौधरी ने कहा कि राजद उम्मीदवार की जीत दलौदा के आम जनता की जीत होगी यहां के लोग एक ही परिवार के वर्चस्व से ऊब चुके विकास की गति धीमी पड़ चुकी है हर तबके में परिवार विशेष को लेकर आक्रोश है इसी कारण इस बार लोगों ने राजद उम्मीदवार के प्रति गोल बंद होना शुरू कर दिया है. इस अवसर पर गोरखपुर से राजद विधायक सत्यदेव सिंह ने कहा कि कुछ लोगों को गलतफहमी हो गई है कि वह किसी जाति विशेष के नेता है केवल भाषण बाजी से कोई किसी जाति का रहनुमा नहीं बन सकता. राज और सामाजिक समरसता की पार्टी है और उमेश सिंह का जमीन से जुड़ा होना उन्हें जनता के बीच में लोकप्रिय बना रहा है
हमारे आधार गत वोटरों से मिल रहे अपार जनसमर्थन से दरौंदा का परिणाम पहले ही नजर आने लगा है. इस अवसर पर प्रत्याशी उमेश सिंह ने कहा कि वे जनता का शासक नहीं सेवक बनकर सेवा करने आए वह किसी के ऊपर व्यक्तिगत आक्षेप नहीं कर रहे हैं यह जनता की अदालत में फैसला होने वाला है कि जनता सेवक को चुनती है या शासक वे ना बाहुबली है ना धन बली हैं आम आदमी है और एक एक वोट के लिए लोगों के दरवाजे पर जा रहे हैं लोगों को समझा रहे हैं वोट की ताकत से ही व्यवस्था पर चोट किया जा सकता है अभी तक 150 से ज्यादा गांव में घूम चुके हैं. उमेश सिंह ने कहा कि कुछ लोग झलक प्रपंच से चुनाव जीतना चाहते हैं पर इस बार जनता जागरूक है जो किसी के झांसे में नहीं आने वाली उन्होंने आठ माह बनाम 12 साल का नारा दिया है जिसे लोगों का अपार जनसमर्थन मिल रहा है कुछ लोग मुद्दा विहीन राजनीति को बढ़ावा दे रहा है जबकि वह क्षेत्र के विकास को लेकर लोगों से वोट मांग रहे हैं. उमेश सिंह ने कहा कि जनतंत्र में जनता ही मालिक होती है जनता जिसे चाहेगी वहीं जनप्रतिनिधि बनेगा वह जनता के भरोसे ही चुनावी मैदान में है सामाजिक न्याय अगड़ा पिछड़ा दलित अल्पसंख्यक सभी वर्गों का जन समर्थन उन्हें मिल रहा है.