पटना : पेट्रोलियम व नेचुरल गैस रेगुलेटरी बोर्ड की ओर से बिहार के 21 जिलों में पाइपलाइन से गैस वितरण हेतुं 10वें निविदा राउंड समारोह को सम्बोधित करते हुए उपमुख्यमंत्री सुशील कुमार मोदी ने कहा कि फरवरी में पटना के घरों में पाइप से गैस की आपूर्ति शुरू हो जायेगी। इसके साथ ही उन्होंने गेल इंडिया से 9वें निविदा राउंड के दौरान अगले 5 साल में पटना के 50 हजार घरों में पाइप से एलपीजी आपूर्ति के लक्ष्य को संशोधित कर बढ़ाने को कहा। फुलवारीशरीफ में सीएनजी गेट स्टेशन की स्थापना के लिए सरकार ने 100 करोड़ कीमत की डेढ़ एकड़ जमीन 48 करोड़ में उपलब्ध कराने जा रही है।
– एक वर्ष के अंदर होगी आधा दर्जन से अधिक सीएनजी स्टेशन
मार्च तक पटना में 3 सीएनजी स्टेशन तथा 2019-20 में 4 नए स्टेशन स्थापित होंगे। सरकार बिल्डिंग बाईलॉज में संशोधन करेगी ताकि बहुमंजिली इमारतों में निर्माण के दौरान ही गैस का पाइप भी लगाया जा सके। सीएनजी व बैट्री चालित वाहनों के प्रयोग को बढ़ावा देने के लिए सरकार रजिस्ट्रेशन शुल्क कम करने पर विचार कर सकती है।
– उज्ज्वला योजना से बिहार में 70 लाख लोग हुए हैं लाभान्वित
श्री मोदी ने कहा कि प्रधानमंत्री उज्जवला योजना के तहत 1 दिसम्बर, 2018 तक बिहार के 70 लाख गरीबों को मुफ्त गैस कनेक्शन दिए गए हैं। 01 अप्रैल, 2014 को मात्र 23.5 प्रतिशत (38 लाख घरों) के मुकाबले बढ़ कर 31 दिसम्बर, 2018 को 68.36 प्रतिशत यानी 1.53 करोड़ घरों में एलपीजी कनेक्शन हैं। पूरे देश में मार्च, 2019 तक 5 करोड़ परिवारों को गैस कनेक्शन देने के लक्ष्य के विरूद्ध 2 जनवरी तक ही 6 करोड़ को कनेक्शन दिया जा चुका है। 2021 तक 8 करोड़ परिवारों को उज्जवला के तहत गैस कनेक्शन देने का लक्ष्य है। उन्हांने उज्जवला योजना के उपभोक्ताओं द्वारा दुबारा सिलेंडर रिफिल नहीं कराने के आरोप का खंडन करते हुए कहा कि अखिल भारतीय औसत 4 के विरूद्ध बिहार में रिफिल कराने का औसत 3.86 है।
– प्रदुषण को रोकना है प्राथमिकता
प्रदूषण को ध्यान में रख कर ही बिहार सरकार ने कजरा (लखीसराय) और पीरपैंती (भागलपुर) में प्रस्तावित थर्मल की जगह 200-200 मेगावाट के सोलर पावर प्लांट लगाने का निर्णय लिया है। पाइप से गैस की आपूर्ति होने से जहां घरों में सिलेंडर की जगह सीधे पीएनजी मिलेगी वहीं गैस आधारित उद्योग भी लगेंगे। पुराने वाहनों को सीएनजी में परिवर्तित करने के लिए 30-40 हजार में किट उपलब्ध है। पेट्रोल-डीजल और एलपीजी की तुलना में सीएनजी 35-40 प्रतिशत सस्ता है। सीएनजी के प्रयोग से वायु प्रदूषण के नियंत्रण में मदद मिलेगी।