केन्द्र सरकार ने जल जीवन मिशन के अंतर्गत पूर्वोत्तर राज्यों के लिए आज एक महत्वपूर्ण निर्णय लिया। सरकार ने चालू वित्त वर्ष में गांवों में नल के जरिए जल आपूर्ति के लिए पूर्वोत्तर के आठ राज्यों को 1,605 करोड़ रुपए जारी किए हैं। जल शक्ति मंत्रालय ने कहा है कि इस वित्तीय वर्ष में जारी होने वाली चार किस्तों में से यह पहली किस्त है।
पूर्वोत्तर राज्यों के 16 लाख से अधिक घरों में पहुंचा पानी
पूर्वोत्तर राज्यों में लगभग नब्बे लाख ग्रामीण परिवार हैं, जिनमें से अधिकतम 63.35 लाख असम में हैं। पिछले वित्त वर्ष में इन सभी राज्यों में 11 लाख नए नल के जरिए पानी उपलब्ध कराया गया। मंत्रालय ने कहा कि अब तक इन राज्यों में 16 लाख 27 हजार घरों में नल का पानी पहुंच रहा है, जबकि अगस्त 2019 में इसकी संख्या तीन लाख बीस हजार थी।
15 अगस्त 2019 को हुई थी योजना की घोषणा
जल जीवन मिशन की शुरुआत 15 अगस्त 2019 को प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी ने की थी। इसका लक्ष्य 2024 तक प्रत्येक गांव के हर घर में नल से पानी की आपूर्ति सुनिश्चित करना है। इस मिशन को राज्यों और केंद्र शासित प्रदेशों के साथ साझेदारी में लागू किया जा रहा है। कोविड-19 महामारी और उसके बाद पूर्ण बंदी की चुनौतियों के बाद भी चार करोड़ बीस लाख से अधिक घरों में नल से पानी की आपूर्ति सुनिश्चित की गई। मंत्रालय ने कहा कि अब 39 प्रतिशत ग्रामीण परिवारों को नल से पीने का पानी मिल रहा है। गोवा, तेलंगाना, अंडमान-निकोबार द्वीप समूह और पुडुचेरी हर घर जल राज्य और केंद्र शासित प्रदेश बन गए हैं।
लॉकडाउन के दौरान प्रतिदिन हो रहे थे 1 लाख नल कनेक्शन
ग्रामीण जल जीवन मिशन के पहले चरण में लगभग चार करोड़ घरों में नल से जलापूर्ति करने में सफलता मिली है। पहले का जोड़कर, अब तक कुल सात करोड़ घरों में नल से जल पहुंचने लगा है। वर्ष 2024 तक देश के ग्रामीण क्षेत्र के सभी 19 करोड़ घरों में जलापूर्ति के लिए नल का कनेक्शन पहुंचाने का लक्ष्य निर्धारित किया गया है। कोविड-19 की आपदा के दौरान लागू लॉकडाउन के समय जल जीवन मिशन के तहत रोजाना एक लाख घरों में पानी का कनेक्शन लगाया जा रहा था।
एक तिहाई से अधिक ग्रामीण क्षेत्रों में पहुंची जल-नल योजना
जल जीवन मिशन की शुरुआत से पहले देश में मात्र 17 फीसद यानी 3.23 करोड़ घरों में ही जलापूर्ति का कनेक्शन था। बाकी 15.70 करोड़ घरों में पानी का कनेक्शन देने के लिए वर्ष 2019 में 15 अगस्त के दिन मिशन शुरू किया गया। मंत्रालय के जारी आंकड़ों के मुताबिक, ग्रामीण क्षेत्रों के एक तिहाई से अधिक घरों तक शुद्ध जलापूर्ति के लिए कनेक्शन जोड़ दिए गए हैं।