बिहार पत्रिका / ब्यूरो रिपोर्ट, पटना।
पटना : सड़क एवं पुल के निर्माण के साथ – साथ उसके रखरखाव का भी नियम बनना चाहिए, और इसकी जिम्मेवारीसरकार को लेनी चाहिए। सड़क के निर्माण के समय उसकी गुणवत्ता से कोई समझौतानहीं होना चाहिए, समय सीमा के अंदर कार्य पूरा होना चाहिए और सड़क के रखरखावकी पूरी जिम्मेवारी होनी चाहिए, इन्हीं तीन महत्वपूर्ण बातों को ध्यान में रखकरसरकार तेजी से काम कर रही है। उक्त बातें शुक्रवार को बिहार के मुख्यमंत्री नीतीश कुमार ने पथ निर्माण विभाग द्वारा आयोजित इंडियन रोड कांग्रेस के 80 वें वार्षिक अधिवेशन का उद्घाटन करते हुए कहीं।
उन्होंने लोगों को संबोधित करते हुए कहा कि सड़क के रखरखाव के साथ हीं पुल के रखरखाव के लिए लिएभी सरकार द्वारा नजर रकह जाएगा। नीतीश कुमार ने कहा कि बिहार में जल, जीवन, हरियाली अभियान चलाया जा रहा है जिसके अंतर्गत सड़क के किनारे ज्यादा से ज्यादा पेड़लगाने पर काम किया जा रहा है।
उन्होंने कहा कि सड़क पर गाड़ी चलाते समय प्रशिक्षणऔर जागरूकता बहुत जरूरी है। राजमार्ग जैसे सड़क बनने के साथ ही दुर्घटना भीबढ़ी है मगर मैं समझता हूं कि राज्य में शराबबंदी होने से इन दुर्घटनाओंमें थोड़ी कमी आयी है। उन्होंने बताया की हम बिहार में सड़कों और पुलों कीमैंटेनेंस की पालिसी लेकर आये हैं और इसे लोक शिकायत निराकरण अधिकार कानूनके तहत शामिल किया गया है।
आपकी शिकायत पर तत्काल निराकरण तो होगा ही साथ हीजो भी लोग सड़क की खराब दशा के लिए दोषी होंगे उनके खिलाफ कार्यवाईकी जाएगी। उन्होंनेकहा कि प्रधानमंत्री ग्राम सड़क योजना पर काम करते हुए हम बिहार सरकार की सातनिश्चय योजना के अंतर्गत ग्रामीण सड़कोंको मुख्य सड़क से जोड़ रहे हैं और ग्रामीण क्षेत्रों में नाली निर्माण के साथगांव के हर टोलों को पक्की सड़क से जोड़ने का काम किया जा रहा है। नीतीश कुमार ने केंद्र सरकार से अनुरोध करते हुए कहा कि केंद्र सरकार के द्वारा भी राष्ट्रीय राजमार्ग के रखरखाव पर कार्य होना चाहिए क्योंकि बिहार में 5000 किलोमीटर राष्ट्रीय राजमार्ग है। सड़क निर्माण में राज्यों को भी अधिक सेअधिक मदद मिलनी चाहिए। साथ हीं सड़क कानून को और अधिक मजबूत बनाना होगाताकि सड़क पर होने वाले दुर्घटनाओं में कमी आये।उन्होंने केंद्र सरकार सेसीआरएफ का पैसा वित्त विभाग को न देकर पथ निर्माण विभाग को देने की बात कही उन्होंनेकहा की इस पैसे उपयोग सड़कों के सही एवं गुणवत्तापूर्ण निर्माण के लिए होनाचाहिए । अपने संबोधन के अंत में माननीय मुख्यमंत्री ने इस वार्षिक अधिवेशन में भाग लेनेवाले देश – विदेश से आये प्रतिनिधियों को बिहार भ्रमण के लिए आग्रह कियाताकि वो बिहार की सभ्यता एवं संस्कृति से परिचित हो सकें।
कार्यक्रम की विधिवत शुरुआत मुख्य अतिथि नीतीश कुमार, मुख्यमंत्री, बिहार, विशिष्ट अतिथि सुशील कुमार मोदी, उपमुख्यमंत्री, बिहार सरकार, नंद किशोर यादव, मंत्री, पथ निर्माण विभाग , बिहार, शैलेश कुमार,ग्रामीण कार्य मंत्री, बिहार, अमृत लाल मीणा, प्रधान सचिव, पथ निर्माण विभाग, टोली बसर, अध्यक्ष, आईआरसी, आई के पांडेय, डीजी एवं विशेष सचिव,सड़क, परिवहन एवं राजमार्ग मंत्रालय, जितेंद्र श्रीवास्तव, चेयरमैन, बिहार राज्य पुलनिर्माण निगम लिमिटेड, संजय कुमार अग्रवाल, सचिव, परिवहन विभाग, एस केनिर्मल, महासचिव, आईआरसी व देवेश सेहरा, विशेष सचिव, सड़क निर्माण विभाग, भवानी नंदन, अभियंता प्रमुख, पथ निर्माण विभाग, कुमार रवि, जिलाधिकारी, पटना, श्रीमती सीता साहू, महापौर, पटना के द्वारा संयुक्त रूप से दीप प्रज्ज्वलित कर किया गया।
इसके पश्चात मुख्यमंत्री एवं आगत अतिथियों के द्वारा स्मारिका एवं नई डाक्यूमेंट्स काविमोचन किया गया। कार्यक्रम का शुभारंभ सरस्वती श्लोक से किया गया। इसके बाद कलाकारोंके द्वारा आईआरसी गीत की विशेष प्रस्तुति दी गयी। कार्यक्रम में आईआरसी पर आधारित एक डाक्यूमेंट्री फिल्म भी दर्शकों को दिखाई गई।
इसके बाद मुख्य अतिथि द्वारा एन के सिन्हा को लाइफ टाइमअचीवमेंट अवार्ड, डॉ धर्मेंद्र सिंह को नेहरू अवार्ड, डॉ हेमंत कुमार , डॉ संगीता एवं डॉ वंदना को बिहार पीडब्लूडी मैडल अवार्ड, राजन चौधरी एवं एस के निर्मल को आईआरसीमैडल अवार्ड, एन के सिन्हा को सीपीडब्लूडी मैडल, सुदीप कुलकर्णी व आर के मेहता को महाराष्ट्र पीडब्लूडी मैडल, आर के इन्घे, एस एस भूंगे व एस एससहुतरे को कमेंडेशन सर्टिफिकेट दिया गया।
वहीं अपने संबोधन में कार्यक्रम के विशिष्ट अतिथि सुशील मोदी, उपमुख्यमंत्री , बिहार सरकार ने कहा कि बिहार ने विगत 10वर्षों में सड़क निर्माण के क्षेत्र में अधिक तरक्की की है। आईआरसी के 70वेंअधिवेशन के समय हमारे पास लोगों के बैठने के लिए बड़े भवन नहीं थे मगर अबहमारे पास अत्याधुनिक सुविधाओं से परिपूर्ण सम्राट अशोक कन्वेंशन केंद्र है।आईआरसी के इस माध्यम से नई – नई तकनीक का विकास हो रहा है। उन्होंने कहाकि हमें सड़क के निर्माण के समय अत्याधुनिक डिजाइन को अपनाना होगा ताकि सड़कबनाते समय पेड़ों को न काटना पड़े। साथ ही पुल के निर्माण में भी नई तकनीकीका उपयोग होना चाहिए। उन्होंने कहा कि बाढ़ के समय सड़कों की क्षति कम होइसपर हमे चर्चा करना चाहिए।
नंद किशोर यादव, पथ निर्माण मंत्री, बिहार सरकारने कहा कि हमनें सड़क निर्माण क्षेत्र में कई उपलब्धियां हासिल की है। बिहार केसुदुर इलाके से राजधानी पटना पंहुचने के लक्ष्य को पूरा करते हुए अब 5 घंटे में पंहुचने के लक्ष्य की ओर बढ़रहे हैं। उन्होंने कहा कि हमनें आईआरसी के 70वें अधिवेशन के रिसर्च के बादगांधी सेतु पुल की समस्या से छुटकारा पाया। इस वर्ष के तकनीकी सत्र में सड़कनिर्माण से जुड़ी नई तकनीकी और सड़क सुरक्षा के कई समाधान निकालकर सामनेआएंगे।
वहीं वीडियो कॉन्फ्रेंसिंग के जरिए इस कार्यक्रम के प्रति हर्ष जताते हुए नितिन गडकरी, मंत्री, सड़क, परिवहन एवम राजमार्ग, भारत सरकार ने कहा की भारत में हो रहे अत्याधुनिक सड़क, पुल, भवन के निर्माण में हजारोंअभियंताओं, विभाग के अधिकारियों व मजदूरों ने दिन – रात मेहनत कर अपनायोगदान दिया है। यही कारण है कि भारत आधारभूत संरचना के क्षेत्र में तेजी सेविकास कर रहा है। उन्होंनेकहा कि इस अधिवेशन में सड़क व पुल के निर्माण में आधुनिक डिजाइन के उपयोग,सड़क निर्माण में पैसे की लागत को कम करना, सड़क दुर्घटना को कम करना आदिमहत्वपूर्ण विषय पर चर्चा करनी चाहिए।
वार्षिक अधिवेशन के दूसरे दिन 6 तकनीकी सत्र में विभिन्नसंस्थानों द्वारा 16 प्रेजेंटेशन दिया गया।
संध्या काल के सांस्कृतिक कार्यक्रम में बॉलीवुड पार्श्व गायक ने अपने टीम के साथ धमाकेदार प्रस्तुति से लोगों का मनोरंजन किया।