भारत-चीन के बीच सीमा पर लंबे समय से चल रहे तनाव के बीच केंद्र सरकार ने बुधवार को एक और अहम फैसला लिया है. सरकार ने चीन पर तीसरी ‘डिजिटल स्ट्राइक’ करते हुए पबजी समेत 118 मोबाइल ऐप पर प्रतिबंध लगाने का फैसला किया है. इससे पहले भी सरकार कई चीनी कंपनियों की ऐप को बंद कर चुकी है. प्रौद्योगिकी मंत्रालय ने धारा 69ए के तहत इन मोबाइल ऐप्स पर बैन लगाने का फैसला किया है. सूचना और प्रौद्योगिकी मंत्रालय ने प्रतिबंधित की गईं ऐप्स को देश की सुरक्षा, संप्रभुता, एकता के लिए नुकसानदेह बताया है. ऐप्स को बैन किए जाने की जानकारी देते हुए आईटी मंत्रालय ने कहा, ‘ ये सभी 118 मोबाइल ऐप्स विभिन्न प्रकार के खतरे उत्पन्न कर रही थीं, जिसके चलते इन्हें ब्लॉक किया गया है.’
बता दें कि भारत सरकार ने इससे पहले टिकटॉक सहित चीन के कई ऐप पर प्रतिबंध लगाए थे. मंत्रालय ने कहा कि ये ऐप्स अनधिकृत तरीके से यूजर्स की सूचना और डेटा चोरी कर भारत के बाहर भेज रहे हैं. ये ऐप यूजर्स के डेटा को चोरी कर रहे हैं और उसे भारत से बाहर स्थित अपने सर्वर तक गैर कानूनी तरीके से पहुंचा रहे हैं. इन डेटा की चोरी भारत की अखंडता, संप्रभुता और सुरक्षा के लिए खतरा है. सरकार ने कहा कि डेटा की चोरी चिंता का विषय है और इसके लिए आपातकालीन कदम उठाए जाने की आवश्यकता है.
सरकार ने जिन 118 मोबाइल ऐप्स को बैन किया है, उनमें APUS लॉन्चर प्रो थीम, APUS सिक्योरिटी-एंटीवायरस, APUS टर्बो क्लीनर 2020, शाओमी की शेयर सेव, फेसयू, कट कट, बायडु, कैमकार्ड शामिल हैं. इसके अलावा, वीचैट रीडिंग, पिटू, इन नोट, स्मॉल क्यू ब्रश, साइबर हंटर, लाइफ आफ्टर आदि ऐप्स भी शामिल हैं.
गौरतलब है कि भारत और चीन के बीच लद्दाख में वास्तविक नियंत्रण रेखा पर मई महीने की शुरुआत से ही तनाव की स्थिति बरकरार है. इस तनाव में बढ़ोतरी तब हुई थी, जब जून के मध्य में दोनों देशों के सैनिकों के बीच गलवान घाटी में हिंसक झड़प हो गई थी. इस झड़प में भारत के 20 जवान शहीद हो गए थे, जबकि कई चीनी सैनिक भी मारे गए थे. वहीं, पिछले महीने फिर से चीनी सैनिकों ने उकसावेपूर्ण कार्रवाई की थी.