बिहार में राष्ट्रपति शासन लगा कर पुनः जनादेश लेना चाहिए. नीतीश जी की इच्छानुसार जोड़तोड़ की सरकार बनाना गलत बात है. उनको जब मन करेगा इनके साथ रहेंगे जब मन करेगा उनके साथ रहेंगे. ये बिहार की जनता के जनादेश का अपमान है.
मुख्यमंत्री नीतीश कुमार के लिए व्यक्तिगत महत्वकांक्षा से बढ़ कर कुछ नहीं है. ये प्रधान मंत्री का सपना देख रहे हैं. जो व्यक्ति मुख्यमत्री मटेरियल नहीं बन सका वो पीएम मटेरियल क्या बनेंगे.
चिराग ने कहा कि क्या ये सब बिहार के विकास के लिए हो रहा है. क्या बगैर महागठबंधन में गए बिहार का विकास नहीं हो सकता है. नीतीश कुमार रातो-रात अदला बदली करते हैं, इसमें बिहार का कौन सा हित छुपा है.
नीतीश जी अक्सर बिहार की जनता का जनादेश का अपमान करते रहते हैं. लम्बे अरसे के बाद 2017 में बिहार में और केद्र में एक हीं दल या गठबंधन की सरकार बनी, ये सिर्फ कुर्सी की खातिर हीं काम करते हैं.
चिराग ने नीतीश पर आरोप लगते हुए कहा कि वे बीजेपी पर अपमानित करने की बात करते हैं, बीजेपी ने तो नीतीश जी को इतना साथ दिया कि पार्टी ने अपना एजेंडा तक नहीं थोपा. तीसरे नम्बर की पार्टी को बीजेपी ने मुख्यमंत्री बना दिया और अपमान की बात करते हैं. केंद्र ने CAA और NRC लागु करने की बात किया और राज्य में ये गठबंधन में रहते हुए इन्होने विरोध किया.
उन्होंने कहा कि जिनके साथ ये सरकार बनाने जा रहे हैं उनको भी ये बर्बाद कर देंगे. ऐसा कोई सगा नहीं जिसे नीतीश कुमार ने ठगा नहीं. जिस तरह से जनादेश का अपमान हो रहा है इसके बाद तो लोगों को चुनाव में उतरना चाहिए. दो दशक से नीतीश जी मुख्यमंत्री हैं उन्हें तो चुनाव में उतरना चाहिए.