JEE और NEET के प्रवेश परीक्षा को आगे बढ़ाने के लिए छात्र एवं अभिभावक ने की मांग, राहुल गांधी समेत अन्य नेताओं का मिला समर्थन

मेडिकल काउंसिल ने शुक्रवार को सुप्रीम कोर्ट में एफिडेविट दाखिल करते हुए कहा कि नीट परीक्षा 2020 को और नहीं टाला जा सकता. अब अगर परीक्षा टली तो पूरा एकेडमिक कैलेंडर इस कदर बिगड़ जाएगा कि उसे ठीक करना संभव नहीं होगा. यही नहीं इस साल के एकेडमिक कैलेंडर के बिगड़ जाने से आने वाले सालों के एकेडमिक कैलेंडर पर भी नकारात्मक असर पड़ेगा क्योंकि सभी साल एक-दूसरे से कनेक्टेड हैं. सुप्रीम कोर्ट ने NEET और JEE परीक्षा के आयोजन के‌ खिलाफ दायर याचिका को खारिज करते हुए परीक्षा कराने का फैसला सुनाया. दरअसल कोरोना  के चलते छात्र-छात्राएं परीक्षा को स्थगित कराने की मांग लेकर सुप्रीम कोर्ट पहुंचे थे. इस फैसले के बाद सोशल मीडिया के जरिए तमाम छात्र-छात्राएं परीक्षा को लेकर अपना गुस्सा जाहिर कर रहे हैं.  क्यों परीक्षा टालना ज़रूरी है?

क्या भारत में रोजाना 50 हजार से ज्यादा कोरोना के केस के बीच जायज है NEET और JEE का परीक्षा कराने का फैसला. और क्या  बच्चों की जान से ज्यादा जरूरी है  NEET और JEE की परीक्षा. सितंबर माह में होने जा रही जेईई और नीट 2020 परीक्षाओं को स्थगित करने की मांग तेज होती जा रही है. उल्लेखनीय है कि सोमवार को देश में कोरोना के 61000 नए मामले सामने आए हैं. अब तक कोरोना संक्रमितों की कुल संख्या 31 लाख के पार पहुंच चुकी है.

पश्चिम बंगाल की मुख्यमंत्री ममता बनर्जी ने आज दूसरी बार केंद्र सरकार से मांग की देश में कोरोना वायरस  महामारी के संकट को देखते हुए नीट और जेईई 2020 को स्थगित कर दिया जाए. उन्होंने ट्वीट करते हुए कहा, यदि परीक्षाएं सितंबर के निर्धारित शेड्यूल में हुईं तो इससे छात्रों की जिंदगी खतरे में पड़ सकती है. मैं केंद्र सरकार से एक बार फिर गुजारिश करूंगी कि वे हालात को समझे और जब तक स्थिति सामान्य न हो तब तक के लिए परीक्षाएं स्थगित कर दें.

असदुद्दीन ओवैसी ने ट्विटर पर लिखा, ”मुझे आशा है कि बेहतर समझ बनी रहेगी और #JEENEET स्थगित होगी. लेकिन छात्रों को मेरी सलाह होगी कि वे सबसे बुरे के लिए तैयार रहें. अगर आप इस सरकार से सहानुभूति और निष्पक्षता की उम्मीद कर रहे हैं तो आप निराश होंगे.”

राहुल गाँधी ने भी कहा कि- आज हमारे लाखों छात्र सरकार से कुछ कह रहे हैं. NEET, JEE परीक्षा के बारे में उनकी बात सुनी जानी चाहिए और सरकार को एक सार्थक हल निकालना चाहिए.

आपको बता दें कि विभिन्न वर्गों की ओर से परीक्षाएं स्थगित करने की मांग के बावजूद शिक्षा मंत्रालय ने जेईई मेन की परीक्षाएं 1 से 6 सितंबर के बीच और नीट 2020 13 सितंबर को आयोजित करने के निर्देश दिए हैं. कुछ छात्र इन्हें स्थगित कराने के लिए सुप्रीम कोर्ट का भी रुख किया था लेकिन सर्वोच्च अदालत ने यह कहते हुए उनकी याचिका खारिज कर दी थी कि कोरोना है, लेकिनि जिंदगी चलती रहेगी.

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