बिहार के कृषि मंत्री डाॅ॰ प्रेम कुमार ने कहा कि राज्य में रबी मौसम, वर्ष 2019-20 के मार्च माह में दिनांक 04-06 एवं 13-15 मार्च को हुई असामयिक वर्षा/आँधी/ओलावृष्टि के कारण फसल क्षति वाले 23 जिलों के प्रतिवेदित 196 प्रखण्डों के वंचित किसान भाई-बहनों के लिए सरकार द्वारा कृषि इनपुट अनुदान हेतु फिर से एक बार आवेदन देने की सुविधा दी जायेगी।
डाॅ॰ कुमार ने कहा कि राज्य के 23 जिलों यथा पटना, नालंदा, भोजपुर, बक्सर, रोहतास, भभुआ, गया, जहानाबाद, अरवल, नवादा, औरंगाबाद, गोपालगंज, मुजफ्फरपुर, पश्चिमी चम्पारण, दरभंगा, समस्तीपुर, मुंगेर, शेखपुरा, लखीसराय, भागलपुर, बाँका, मधेपुरा तथा किशनगंज के प्रतिवेदित 196 प्रभावित प्रखण्डों के छूटे हुए किसान भाइयों एवं बहनों को सरकार द्वारा कृषि इनपुट अनुदान का लाभ देने के लिए एक और अवसर दिया जा रहा है।
इन जिलों के छूटे हुए किसान 04 मई से 11 मई, 2020 तक कृषि विभाग, बिहार सरकार के वेबसाईट पर आॅनलाईन आवेदन कर सकते हैं। उन्होंने कहा कि वैसे किसान, जो रबी, वर्ष 2019-20 में फसल क्षति की भरपाई हेतु कृषि इनपुट अनुदान के लिए पूर्व से आॅनलाईन आवेदन किये हुए हैं, उन्हें पुनः आवेदन करने की आवश्यकता नहीं है।
प्रभावित जिलों के किसानों को कृषि इनपुट अनुदान वर्षाश्रित यानि असिंचित फसल क्षेत्र के लिए 6,800 रूपये प्रति हेक्टेयर की दर से दिया जायेगा, जबकि सिंचित क्षेत्र के लिए किसानों को 13,500 रूपये प्रति हेक्टेयर की दर से यह अनुदान दिया जायेगा। उन्होंने कहा कि यह अनुदान प्रति किसान अधिकत्तम दो हेक्टेयर के लिए ही देय होगा। सरकार द्वारा इस योजना के अंतर्गत किसानों को फसल क्षेत्र के लिए कम-से-कम 1,000 रूपये अनुदान दिया जायेगा।
डाॅ॰ कुमार ने कहा कि राज्य में इस वर्ष अप्रैल माह में हुई असामयिक वर्षा/आँधी/ओलावृष्टि के कारण फसल क्षति का सर्वेक्षण कराया जा रहा है। सरकार द्वारा इसके लिए कृषि इनपुट अनुदान हेतु आवेदन देने की व्यवस्था अलग से की जायेगी। उन्होंने कहा कि राज्य में कोरोना जैसी विपदा की घड़़ी में सरकार हमेशा किसानों के साथ खड़ी है एवं उन्हें हरसंभव सहायता करने के लिए कृतसंकल्पित है। उन्होंने किसानों से अपील किया कि सरकार द्वारा चलायी जा रही इस योजना के अंतर्गत अधिक-से-अधिक संख्या में आवेदन कर लाभ लें।