काला तिल,काली उड़द, या अदरक खा कर यात्रा करें मंगलकारी होगा, जानिए शनिवार का पञ्चाङ्ग

।।आप सभी का मंगल हो।।

आज दिनाँक 06/03/2021 दिन शनिवार का पञ्चाङ्ग
विक्रम संवत:-2077(प्रमादी नाम)
शक संवत:-1942(शर्वरी नाम)
सूर्य:-उत्तरायण
सूर्योदय:-प्रातः06:12
सूर्यास्त:-शायं 05:48
ऋतु:-बसंत
माह:-फाल्गुन
पक्ष:-कृष्ण
तिथि:-अष्टमी
नक्षत्र:-ज्येष्ठा
योग:-वज्र
करण:-प्रातः07:00 तक बालव तदुपरान्त कौलव
राहूकाल:-प्रातः09:00 से 10:30 तक
अमृतमुहूर्त:-अपराह्न 03:08 से 04:36 तक
दिशाशूल:-पूर्व
शुभदिशा:-पश्चिम
दिशाशूल परिहार:-आज काला तिल,काली उड़द, या अदरक खा कर यात्रा करें मंगलकारी होगा।

।।आज का राशिफल।।

मेष:-
आज व्यापार में मध्यम लाभ संभव है कर्मचारियों पर अधिक विश्वास न करें। संतान पर नजर रखें। बौद्धिक प्रयास से ही कार्यसिद्धि होगी। मान-सम्मान में वृद्धि होगी। पारिवारिक वातावरण सर्वथा उन्नतिकारक सिद्ध होगा।
यात्रा से व्यय होगा।
राशिरत्न:-मूँगा

वृष:-
आज महत्वपूर्णकार्य निर्णय बहुत ही शांति से विचार करके करें। व्यापार में नए अनुबंध लाभकारी रहेंगे। व्यर्थ विवाद से बचें। आज नए मित्रों से लाभ संभव है। आज व्यवसायिक यात्रा मंगलदायक रहेगी।
स्वास्थ्य प्रभावित रह सकता है।
राशिरत्न:-हीरा,या ओपल

मिथुन:-
आज आपकी यात्रा मनोरंजक रहेगी। उत्तम मनोबल से समस्याओं का हल निकलेगा। दिखावे एवं आडंबरों से दूर रहना हितप्रद होगा। मशालेदार चीजों से सवफन रहें। दांपत्य जीवन शुभतापूर्ण रहेगा। लापरवाही की प्रवृत्ति का त्याग करें।
राशिरत्न:-पन्ना

कर्क:-
आज भूमि व भवन संबंधी बाधा दूर होगी। नौकरी में अधिकारियों का उचित सहयोग नहीं रहेगा। लेन-देन का विषय में निर्विवाद रहेगा।बेरोजगारी दूर होगी। राजकीय क्षेत्र के व्यक्तिविशेष ला मिलेगा।पारिवारिक संबंध प्रगाढ़ होंगे।यात्रा से आर्थिक लाभ मिल सकेगा।
राशिरत्न:-मोती,या चन्द्रमणि

सिंह:-
आज आप व्यापारिक कार्यपद्धति में विश्वसनीयता बनाएं रखें। मित्रों में वर्चस्व बढ़ेगा। आजीविका में नए प्रस्ताव मिलेंगे। जीवनसाथी के स्वास्थ्य की ओर ध्यान दें। जीवनसाथी से सहयोग मिलेगा। कोर्ट व कचहरी में अनुकूलता रहेगी। प्रसन्नता रहेगी। आय बढ़ेगी। घर मे मांगलिक आयोजन हों सकेगा।
राशिरत्न:-माणिक्य

कन्या:-
आज व्यापर में विस्तार हो सकेगा। ऋतु परिवर्तन से स्वास्थ्य प्रभावित हो सकता है।वाणी पर नियंत्रण रखें। बुद्धि एवं तर्क से कार्य के प्रति सफलता के योग बनेंगे। जोखिम व जमानत के कार्य टालें। सकारात्मक विचारों के कारण प्रगति के योग आएंगे। ईश्वर पर आस्था बढ़ेगी।
राशिरत्न:-पन्ना

तुला:-
आज अध्यात्म में रुचि बढ़ेंगी। भूमि-आवास सम्बन्धित समस्याओं में वृद्धि संभव है। व्यापार-व्यवसाय सामान्य चलेगा। शत्रु भय रहेगा। शारीरिक कष्ट संभव है। कोर्ट व कचहरी के कार्य बनेंगे। कर्म के प्रति पूर्ण समर्पण व उत्साह रखें। व्यापार में नई योजनाओं से लाभ होगा।
राशिरत्न:- हीरा,या ओपल

वृश्चिक:-
आज आपका व्यवसाय ठीक ढंग से गति करेगा जिससे उत्तम लाभ होगा। प्रियजनों से पूरी मदद मिलेगी। यात्रा कष्टप्रद हो सकती है। धैर्य एवं संयम बना रखें , नई योजना बनेगी। रुके कार्य बनेंगे। आप के कार्य की प्रशंसा होगी। निजीजनों में असंतोष का वातावरण न होने दें आर्थिक चिंता दूर होगी।
राशिरत्न:-मूँगा

धनु:-
स्वास्थ्य के प्रति सचेत रहें ऋतु परिवर्तन प्रभावित कर सकता है। संतान के कार्यों में उन्नति के योग हैं। कार्यक्षमता एवं कार्यकुशलता में अभिवृद्धि संभव है। यात्रा सफल व लाभप्रद रहेगी। आय में वृद्धि होगी। लेन-देन में सावधानी रखें। रुके हुए काम समय पर होने में संशय की संभावना है।
राशिरत्न:-पुखराज

मकर:-
आज ऋतु परिवर्तन से स्वास्थ्य प्रभावित रहा सकता है संयम बरतें, व्यावसायिक चिंताएं दूर होंगी। प्रयास में आलस्य व विलंब नहीं करना चाहिए। अप्रत्य‍ाशित खर्च होंगे। कर्ज लेना पड़ सकता है। वाणी पर नियंत्रण रखें। स्वयं के सामर्थ्य से ही भाग्योन्नति के अवसर आएंगे। विरोधी परास्त होंगे।यात्रा से धन लाभ संभव है।
राशिरत्न:-नीलम

कुंभ:-
आज आपको पारिवारिक सम्मान भेंट व उपहार की प्राप्ति हो सकती है। मन मे कार्य में सफलता पाने की प्रसन्नता रहेगी। परिवार में सुखद वातावरण रहेगा। व्यापार में इच्छित लाभ हो सकेगा। सत्कार्य में रुचि बढ़ेगी। बेरोजगारी दूर होगी। व्यावसायिक यात्रा सफल रहेगी। प्रियजनों का पूर्ण सहयोग मिलेगा। आर्थिक स्थिति मजबूत होगी।
राशिरत्न:-नीलम

मीन:-
आज रुके हुवे धन की प्राप्ति की सफल योजना बन सकेगी, रोजगार में वृद्धि होगी। चिंता तनाव में काफी कमी आएगी। संतान की प्रगति संभव है। वाहन चलाते समय सावधानी रखें। ईष्ट मित्रों से मुलाकात होगी। शुभ समाचार मिलेंगे। प्रसन्नता रहेगी। भूमि व संपत्ति संबंधी कार्य सफल होंगे। पूर्व सतकर्म फलीभूत होंगे।
यात्रा मङ्गल दायक सिद्ध होगी।
राशिरत्न:-पुखराज

।।वास्तु टिप।।
नवीन भूमि पर चाहे किसी भी उद्देश्य से वास्तु निर्माण का कार्य प्रारंभ करने से पहिले आग्नेय कोंण में पहले एक कील या खूंटी गाड़ देनी चाहिए पश्चात क्रमानुसार नैऋत्य, वायव्य, ईशान कोण में इसी प्रकार खूंटियां गाड़ देनी चाहिए। अलग -अलग वर्णों के लिए शास्त्रों में अलग -अलग खूंटियों का वर्णन मिलता है।
ब्राह्मण के लिए पीपल की, क्षत्रियों के लिए बेर की,वैश्य के लिए सुरेष वृक्ष की, शूद्रों के लिए अर्जुन के वृक्ष की सविधि नाप की खूंटियों को वास्तु देवताओं के अनुरूप गाड़ना चाहिए जिससे उस भूमि पर रहने वाला व्यक्ति लक्ष्मी सम्पन्न व जीवन पर्यंत खुशहाल रहता है।

।।इति शुभम्।।

आचार्य स्वामी विवेकानन्द जी
ज्योतिर्विद, वास्तुविद व सरस् सङ्गीत मय श्रीरामकथा व श्रीमद्भागवत कथा व्यास श्रीधाम श्री अयोध्या जी संपर्क सूत्र:-9044741252

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