पटना: नाले में गिरे दीपक का 46 घंटे बाद भी पता नहीं, रेस्क्यू ऑपरेशन अब भी जारी

पटना: पुनाईचक मोहनपुर संप हाउस के नाले में गिरे दीपक का 45 घंटे बाद भी नहीं मिल सका है। दीपक की खोज के लिए एनडीआरएफ, एसडीआरएफ और नगर निगम की टीम लगी हुई है। नगर निगम की सुपर सकर मशीन और एनडीआरएफ व एसडीआरएफ के डीप डाइवर भी बच्चे को ढूंढ़ने में असफल रहे।
रविवार को नगर निगम की सुपर सकर मशीन से नाले में जमे गाद को ढीला किया गया। गोताखोर भी नाले में उतारे गए। संप हाउस भी पूरी क्षमता के साथ चला पर बचाव दल को सफलता हाथ नहीं लग सकी। शनिवार दिन में करीब डेढ़ बजे पुनाईचक संप हाउस के हौज में गिरकर दीपक एसकेपुरी संप हाउस के नाले में बह गया था। दिन भर ऑपरेशन के बाद रात करीब साढ़े बारह बजे गोताखोर नाले से निकल गए थे। उसके बाद सुपर सकर मशीन से सिल्ट को ढीला करने का काम शुरू किया। करीब 10 घंटे तक मशीन चलाने के बाद रविवार सुबह करीब 11 बजे एनडीआरएफ के डीप डाइवर विकास कुमार व एसडीआरएफ के कांस्टेबल रवि कुमार और कुमार गौतम ऑक्सीजन सिलेंडर लेकर मैनहोल में उतरे। लेकिन नाले में गाद जमा होते-होते बन गई सात फीट चौड़ी थर्मोकॉल की दीवार के पास जाकर रुक गए। इस दीवार हटाने के लिए संप हाउस के तीनों मोटर खोले गए। पानी का तेज बहाव किया गया। बावजूद बच्चा नहीं मिला। इसी बीच रविवार शाम को दूसरे मैनहोल का पता चला। सर्च ऑपरेशन रविवार देर रात डेढ़ बजे तक जारी था।

रात में सड़क खोदी
रविवार की शाम छह बजे एक नया मोड़ आया। जिस नाले में रेस्क्यू हो रहा था वह संप हाउस से सीधा जुड़ा हुआ नहीं था। टॉर्च के सहारे बचाव दल ने इसका पता किया। उसके बाद राजेश पथ में सड़क की खुदाई की गई। पाइप को तोड़ा गया और उसमें से सुपर सकर मशीन से गाद निकाली गई।
डीएम ने किया मुआयना
शाम चार बजे डीएम कुमार रवि, नगर आयुक्त अनुपम कुमार सुमन, एमडी जल पर्षद राजेश मीणा भी बचाव कार्य स्थल पर पहुंचे। काफी देर तक मंत्रणा की। घटनास्थल का मुआयना करने के बाद बीच में थर्मोकोल की दीवार हटाने के लिए सड़क को पंक्चर करने का निर्देश दिया। केंद्रीय मंत्री रामकृपाल यादव और मेयर सीता साहू ने भी घटनास्थल का जायजा लिया।

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