ए0आई0बी0ओ0सी0 ने बैंक अधिकारियों की माॅंगो को नजर अंदाज करने का आरोप लगाया।

photo-sunil-kumar0001ए0आई0बी0ओ0सी0 के सीनियर वाईस प्रेसिडेन्ट श्री सुनील कुमार ने कहा कि वेतन समझौते व अन्य माॅंगो को लेकर आई0बी0ए0 गंभीर नही है। इस सम्बंध में वित्त मंत्रालय व उसके तीन अनुस्मारक के स्पष्ट निर्देश के बावजूद बैंक प्रबंधन और आई0बी0ए0 चुप है। इसका मसौदा 12 जनवरी, 2017 तक तैयार कर लेना चाहिए था। परन्तु आज तक आई0बी0ए0 ने अधिकरी संगठनो से कोई बातचीत नही की है। ए0आई0बी0ओ0सी0 अधिकारियों के वेतन विसंगति के मुद्दे पर बैंक प्रबंधन और आई0बी0ए0 की चुप्पी एंव तीसरे पक्ष के सहभागिता पर आक्रोश व्यक्त किया है। यह कारवाई बैंक अधिकारियों के वेतन विसंगति को दूर करने के बजाय लटकाने का प्रयास बताया।

श्री सुनील कुमार सहायक प्रबंधक एंव अधिकारियों के वेतन विसंगति का मामला लंबित है। केन्द्र सरकार द्वारा गठित बी0बी0बी0 भी इस दिशा में कोई कारगर कदम नही उठा रही है। अधिकारियों को मिलने वाली वेतन व सुविधा अन्य जगहों से कम रहने के बावजूद बैंक अधिकारी हमेषा राष्ट्र्हित में कार्य करते रहे हैं। इसके बावजूद पिछले 2014 से मामले को लटकाया जा रहा है।

सुनिल कुमार ने कहा कि सार्वजनिक व निजी क्षेत्र के बैंक समझौता वार्ता सभी बैंको के लिए है। बी0बी0बी0 चाहती है कि यह वार्ता कुछ बैंको के साथ हो जिसका आईबाॅक जोरदार विरोध करेगा। पिछले पचास वर्षों से वेतन समझौता कर्मचारियों एंव अधिकारियों के साथ समान रूप से होते आया है। यह भी देखने को आ रहा है कि बैंक अधिकारी-कर्मचारी को कार्यों के आधार पर वेतन व प्रोत्साहन राषि देने की बात की जा रही है। इससे बैंकिंग वातावरण के कार्य का आधार ठीक नही होगा। बैंक अधिकारियों के वेतन समझौता को नजर अंदाज किया जा रहा है। इससे असमानता और पक्षपात को बढ़ावा मिलेगा जिसे आईबाॅक कभी बरदास्त नही करेगा।

श्री सुनील कुमार ने केन्द्र सरकार से माॅग की है कि आई0बी0ए0 को वेतनमान समझौता पर तुरंत बातचीत करने को कहे। केन्द्र सरकार द्वारा भारत सरकार के योजनाओं को लागू करने में बैंक अधिकारियों व कर्मचारियों द्वारा अपनी भूमिका अदा करने के लिए प्रधानमंत्री व वित्तमंत्री से जो बैंक अधिकारी व कर्मचारी को प्रषंसा मिली है, इससे आईबाॅक को विश्वास है कि आगामी वेतन समझौता शानदार होगा।

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